
सियोल: दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति यूं सूक येओल को बुधवार को महाभियोग के बाद गिरफ्तार कर लिया गया। यह घटना देश के इतिहास में पहली बार हुई है, जब किसी मौजूदा राष्ट्रपति को गिरफ्तार किया गया। इस गिरफ्तारी से दक्षिण कोरिया की राजनीति में गहरा असर पड़ सकता है।
रिपोर्ट के मुताबिक, दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति यूं सूक येओल पर भ्रष्टाचार और सत्ता के दुरुपयोग जैसे गंभीर आरोप लगाए गए हैं। इन आरोपों के बाद संसद ने महाभियोग प्रस्ताव को मंजूरी दे दी। इसके बाद, कानून प्रवर्तन एजेंसियों ने राष्ट्रपति को हिरासत में लेने का निर्णय लिया। इस फैसले से देश में राजनीतिक उथल-पुथल मच गई है और कई सवाल उठने लगे हैं।
गिरफ्तारी के बाद वीडियो संदेश जारी
गिरफ्तारी के बाद राष्ट्रपति ने एक वीडियो संदेश में कहा कि उनके खिलाफ शुरू की गई जांच पूरी तरह से अवैध है। उन्होंने यह भी कहा कि वह सीआईओ के सामने पेश होंगे, लेकिन यह केवल इसलिए कर रहे हैं ताकि कोई हिंसा या खूनखराबा न हो। राष्ट्रपति ने साफ किया कि उनका यह कदम जांच को सही मानने का संकेत नहीं है। उन्होंने अपने संदेश में यह फैसला शांति बनाए रखने के लिए लिया है।
महाभियोग और गिरफ्तारी पर मचा बवाल
आपको बता दें कि यून ने 3 दिसंबर की रात को अचानक मार्शल लॉ लागू करने का आदेश दिया गया, जिससे देश में हड़कंप मच गया। इसके तहत संसद में विशेष बल और हेलिकॉप्टर भेजे गए थे। विपक्ष के साथ उनकी पार्टी के सांसदों ने उनके आदेश को अस्वीकार करके उन्हें अपना फैसला वापस लेने के लिए मजबूर किया और उन पर अपने पद का गलत इस्तेमाल करने और मार्शल लॉ लागू करने की कोशिश का आरोप लगा । इस वजह से उनके खिलाफ महाभियोग चलाया गया, जिससे देश में पहले ही अस्थिरता का माहौल था। अब उनकी गिरफ्तारी के बाद हालात और गंभीर हो गए हैं।
बैरिकेड्स के बावजूद हुई गिरफ्तारी
बुधवार सुबह भ्रष्टाचार विरोधी जांच टीम और पुलिस के 1,000 से अधिक अधिकारी यूं सूक येओल के घर पहुंचे। उनके घर के चारों ओर बैरिकेड्स लगाए गए थे, ताकि कानून प्रवर्तन अधिकारियों को अंदर जाने से रोका जा सके। इसके बावजूद पुलिस ने कार्रवाई करते हुए यूं सूक येओल को गिरफ्तार कर लिया। इस दौरान सुरक्षा के कड़े इंतजाम थे और पुलिस ने तय प्रक्रिया के तहत कार्रवाई को अंजाम दिया। घटना से इलाके में हलचल मच गई, लेकिन पुलिस ने स्थिति पर काबू बनाए रखा। हालांकि रिपोर्ट के अनुसार, ये भी जानकारी मिल रही है कि राष्ट्रपति के सुरक्षा में लगे बॉडीगार्ड भी गिरफ्तार हो सकते हैं।
राष्ट्रपति की गिरफ्तारी पर अंतरराष्ट्रीय ध्यान
दक्षिण कोरिया के पूर्व राष्ट्रपति यूं सूक येओल की गिरफ्तारी ने दुनियाभर का ध्यान खींचा है। कई देशों ने इसे दक्षिण कोरिया के लोकतंत्र की ताकत के रूप में सराहा है। हालांकि, इस घटना ने देश की राजनीतिक स्थिरता पर सवाल खड़े कर दिए हैं। विशेषज्ञों का मानना है कि यह गिरफ्तारी देश की राजनीति और भविष्य पर बड़ा असर डाल सकती है। आने वाले समय में इसके प्रभाव पर नजर रखना जरूरी होगा।
पहली बार मौजूदा राष्ट्रपति गिरफ्तार
दक्षिण कोरिया के इतिहास में पहली बार किसी मौजूदा राष्ट्रपति को गिरफ्तार किया गया है। यह घटना दिखाती है कि देश में न्याय प्रणाली कितनी सशक्त है। इसके साथ ही यह संदेश भी देती है कि कानून के सामने सभी समान हैं, चाहे उनका पद कितना भी बड़ा क्यों न हो।(एजेंसी)